Wednesday, September 28, 2016

Ghaudhara Daldali Umarda Mahasamund गौधारा दलदली उमरदा महासमुंद

महासमुन्द से लगभग ११ कि.मी कि दूरी पर उमरदा नामक ग्राम पर सुन्दर पहाड़ियों के बीच दलदली स्थित है। यहाँ पहुचने के लिये उत्तम सड़क मार्ग निर्मित है| यहाँ का मुख्य आकर्षण का केन्द्र है।
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दूधेश्वर महादेव दलदली - उमरदा 

गौमुखी से निकलने वाली जलधारा गौमुखी का जल प्रवाह,भीषण गर्मी के दिनों में भी बाधित नहीं होता व सतत बहती रहरी है,गौमुखी का जल इतना पवित्र है| कि भक्त जन इसके जल से शिव जी का अभिषेक करते है।व पिने के लिए इस जल का उपयोग करते है|
umarda daldali msmd


स्थानीय निवासी बताते है| कि गौमुखी का जल श्रोत पहाड़ के रास्ते अन्दर ही अन्दर लगभग ४ से ५ कि.मी महादेव पठार(बाबा डेरा)जंगल के बीच बारामासी नाला का जल दलदली में आता है|
गौमुखी-दलदली उमरदा  
यहाँ पर मकर सक्रांति और महाशिवरात्रि पर विशेष रूद्र अभिषेक अति फलदाई माना जाता है| जिसमे बड़ी संख्या में भक्त जन आते है और भोले बाबा सभी कि मनोकामन पुरी करते है। 

यहाँ पर समय समय धार्मिक अनुष्ठान कार्य कराए जाते है।सावन मास में कावरीयो का ताता लगा रहता है यहाँ। पर अन्य शिव धाम से जल लाते है। और यहा के जल को

दूसरी जगा जैसे कनेकेरा,बम्हनी,सिरपुर आदि शिवालय में जल अर्पण करने के लिए ले जाते है। 



godhara
नंदी 

यहाँ प्रती वर्ष शिव जी के सम्मान में और शिव जी को प्रसन्न करने के लिए|छत्तीसगढ़ में मनाये जाने वाले त्यौहार पुस पुन्नी छेरछेरा से लगभग १० से ११ दिन पहले यज्ञ का आयोजन किया जाता है| 

daldal
प्राचीन शिव मन्दिर
और छेरछेरा के दिन विशाल मडई का आयोजन होता है जिसमे भारी भीड़ उमड़ता है जो अपने आप में वहा के लिए सम्मान की बात है। 
daldali umarda mahasamund

दलदली के आस पास दो अती पावन तीर्थ स्थल है। प्रथम महादेव पठार (बाबा डेरा) जो दलदली से से काफी नजदीक है। जो गौरखेड़ा ग्राम में ग्राम की पहाड़ी के ऊपर स्थित है जिसमे एक प्राचीन शिव लिंग, रानी खोल, बारामासी नाला ,देखने योग्य है। 
यज्ञ कुण्ड 

वही दूसरी ओर दलदली से ४ कि.मी कि दूरी पर मोहन्दी नामक ग्राम पर पहाड़ के उपर प्राचीन और खौफनाक गुफा के अन्दर माता चम्पई विराजमान है।
बरगद वृक्ष के नीचे हनुमान जी

tourism places in mahasamund
                                                           
                         
अति प्राचीन भैरव बाबा



SHIVA'S TEMPLE,CHHATTISGARH
सिध्देश्वर नाथ



प्रांगन के शिव लिंग

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मुख्य शिव  मंदिर



मुख्य मन्दिर

                  दलदली कि आज कि स्थिति 

दलदली का वातावरण इसकी घने वृक्ष इसकी सुन्दरता ही आज इसकी दुसमन बनती जा रही है यहाँ पर असामाजिक तत्व पिकनिक व मौज मस्ती के नाम पर आते है और यत्र ,तत्र कूड़ा करकट तोड़ फोड़ (कुछ तो यहाँ पर गलत नियत से आते है और वहा कि मूर्ति ,मंदिर ,जंगली जीवफूलपेड पौधों को भारी मात्रा में छती पहुचा के निकल जाते है) असामाजिक तत्वों कि बुरी नजर इस स्थान पर पड़ गई है| जिसके कारन यहाँ कि प्राचीनता व सुन्दरता खतरों में आ चुकी है| 
निवेदन :-   
सभी भक्त जनो से निवेदन है कि यहाँ पर आके भक्ति भजन करे प्रांगण में पिकनीक ना मनाये जिससे यहाँ का पवित्र वातावरन दूषित  न  हो और ईधर उधर गंदगी ना फैलाये तथा किसी मुर्ति ,मंदिर ,जलीय जीव ,पशु ,पक्षी ,वृक्ष,भवन को नुकसान ना पहुचाये ,स्वक्षता बनाये रखने मे अपना सहयोग प्रदान करे भगवानआपकी मनोकामना पुरी करे| 

इन्हें  भी जरूर पढ़े :-   

6 comments:

  1. Jai Shiv Shankar Namami Shankar.........

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  2. OM triyambakam yajāmahe sugandhim pushTivardhanam,
    urvārukamiva bandhanān mrrityormokshiya māmrritāt......
    (jai shiv shankar)

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    1. दलदली एक सुंदर पर्यटन स्थल है यहाँ आने पर मन को एक अलग ही शांति मिलती है।यहाँ की प्राकृतिक सुंदरता बरिश के मौसम में अत्यंत ही मनमोहक देखते ही बनती है।यहाँ के शिवजी की बहुत ही महानता है।

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  3. बहुत ही सुन्दर स्थान है| दलदली

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  4. Very nice place you should
    visit here there is 4
    temples of shiv ji and a
    gav mukh.
    Here speciality is that
    always from the mouth of
    the nandi water is coming

    in all season

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  5. श्रीराम चरित मानस (परायण)महायज्ञ 51वा वर्ष दिनांक 31/12/2019 से 10/01/2020 तक। आप सभी भक्त जन सादर आमंत्रित है।

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